मुजफ्फरनगर।
शहर की बंद सीवर लाइन की सफाई के लिए छोडे गए 31.91 करोड के टेंडर में गडबडझाला प्रकाश में आया है। इस मामले की शिकायत पर नगर पालिका ईओ और लोक निर्माण विभाग के एक्सईएन को जांच कराने के निर्देश दिए गए थे। दोनों अधिकारियों ने इस मामले की उच्च स्तर पर जांच कराने का अनुरोध किया है। डीएम ने इस गडबडझाले की जांच कराने के लिए प्रबंधक निदेशक टीएसी जल निगम मुख्यालय को पत्र भेजा है।
शहरी क्षेत्र में विभिन्न स्थानों पर सीवर लाइन बंद पडी हुई है। वर्ष 2019 में बंद सीवर लाइन की सफाई करने के लिए करीब 31 करोड 91 लाख 29 हजार रुपए में टेंडर कार्यदायी संस्था जल निगम को दिया गया था। आरोप है कि जल निगम शहरी के द्वारा सीवर लाइन की कागजों में सफाई की गई है। धरातल पर आज भी सीवर लाइन बंद है। इस मामले में जन विकास सोसायटी के अध्यक्ष मो. खालिद ने डीएम से शिकायत की थी। उन्होंने बताया कि यह कार्य नगर इकाई जल निगम के द्वारा कराया गया था। कार्य की लागत उक्त धनराशि में 4700 गृह संयोजक, 9400 मीटर बंद, सीवर लाईन को खोला जाना था। वहीं 10 किमी प्रति वर्ष पाईपों को बदले जाने का कार्य किया जाना था। जल निगम के द्वारा उक्त कार्य नियमानुसार और सहीं प्रकार से नहीं किया गया है। डीएम ने इस मामले की जांच कराने के आदेश पालिका ईओ और लोक निर्माण विभाग के एक्सईएन को दिए थे। दोनों अधिकारियों ने इस मामले की जांच टीएसी जल निगम मुख्यालय से कराने का अनुरोध किया है। डीएम ने इस संबंध में जांच कराने के लिए प्रबंधक निदेशक टीएसी जल निगम मुख्यालय लखनऊ को पत्र भेजा है।